INTERNET KYA HAI
INTERNET KA KARYA

Introduction:

INTERNET KYA HAI : आज के इस डिजिटल युग का सबसे महत्वपूर्ण आधार है | इन्टरनेट को Hindi में अंतर्जाल कहते है क्यूंकि यह दुनिया के सभी कंप्यूटर और इलेक्ट्रॉनिक device को आपस में जोड़ता है | आज इसका उपयोग हर जगह हो रहा है उदाहरण के लिए ईमेल को हम एक स्थान से दूसरे स्थान तक सूचना को भेजने और प्राप्त करने संवाद करने मनोरंजन के लिए तथा इसका उपयोग हर क्षेत्र में किया जा रहा है आज के इस लेख में हम INTERNET वास्तव में है क्या और ये किस तरह काम करता है इसके पीछे कौन सी टेक्नोलॉजी है इसको गहराई से समझेंगे इसके उपयोग, फायदे और नुकसान और इसके भविष्य के बारे में भी बात करेंगे |

Table of Contents

INTERNET क्या है -WHAT IS INTERNET IN HINDI

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INTERNET KYA HAI इंटरनेट एक INTERCONNECTED विशाल वैश्विक नेटवर्क है जो दुनियाभर के कंप्यूटरों , स्मार्टफोन ,टैबलेट को आपस में जोड़ता है | INTERNET एक कंप्यूटर network का हिस्स्सा है जो सर्वर से फाइबर cable से कनेक्ट करके इंटरनेट प्रोटोकाल एड्रेस (TCP/IP) का उपयोग करता है राऊटर के द्वारा हमारे पास पहुंचता है 1960 के दशक में ही इंटरनेट नेटवर्क की उत्पत्ति संयुक्त राज्य संघीय सरकार द्वारा कंप्यूटर नेटवर्क के माध्यम से हो गई थी| उसके बाद से 80 और 90 के शुरुआती दिनों में इसको बिज़नेस के साथ जोड़ने के साथ आधुनिक इंटरनेट पर इसकी शुरुआत ही और तेजी से वृद्धि के कारण संस्थागत, व्यक्तिगत ,और मोबाइल कंप्यूटर नेटवर्क से जुड़े थे फिर क्या 2000 तक सबके लिए खुल गया था |

इंटरनेट के आने से टेलीफोन ,रेडियो ,टेलीविजन, पेपर मेल ,और अखबार सहित अधिकांश जो संचार मीडिया थी उससे इसको बदल दिया गया इंटरनेट के आने के बाद जैसा कि इंटरनेट टेलिफोनी, फिर इंटरनेट टेलीविजन, रेडियो की जगह ले ली ऑनलाइन से गीत ने ,अखबार की जगह ले ली डिजिटल समाचारों ने और टीवी की जगह ले ली वीडियो स्ट्रीमिंग वेबसाइट ने पुस्तकों और अन्य चीजों के लिए अब लोग वेबसाइट पर जाते हैं इंटरनेट ने तुरंत मैसेजिंग इंटरनेट फोरम और सोशल नेटवर्किंग के माध्यम से जो व्यक्तिगत इंटरैक्शन था उसको बढ़ा दिया |

ऑनलाइन से खुदरा विक्रेता और छोटे व्यवसायियों और उद्यमियों के लिए ऑनलाइन खरीददारी तेजी से बढ़ी क्योंकि यह कंपनियों को एक बड़े बाजार की तरह ऑनलाइन वस्तुओं को बेचने और खरीदने की या जत दे रहा था इंटरनेट के आने से व्यापक में और भी तरक्की हुयी|

इस इंटरनेट का कोई एक मालिक नहीं है यह एक तकनीक है जिसका कार्यनीतियां किसी एक पर शासित नहीं है इसमें प्रत्येक घटक नेटवर्क अपनी नीतियां निर्धारित करता है |

INTERNET कैसे काम करता है ?

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जब आप इंटरनेट पर कुछ करते है जैसे कि कोई वेबसाइट खोलना या वीडियो देखना तो आपका डिवाइस उस जानकारी के लिए एक अनुरोध भेजता है यह अनुरोध छोटे छोटे टुकड़ों में बंट जाता है जिन्हें DATA PACKETS कहा जाता है अब ये पैकेट आपके ROUTOR के माध्यम से आपके इंटरनेट सेवा प्रदाता ( INTERNET SERVICE PROVIDER) के नेटवर्क के माध्यम से और फिर FIBER OPTICAL CABLE के माध्यम से यात्रा करते हैं और ये पैकेट विभिन्न ROUTER के माध्यम से अपने गंतव्य तक पहुंचते हैं

INTERNET के घटक :

  • COMPUTER : इंटरनेट में कंप्यूटर एक नेटवर्क के माध्यम से जुड़े डिजिटल उपकरण होते हैं जो डेटा का आदान प्रदान करते रहते हैं और ये कंप्यूटर विभिन्न प्रकार के संचार और सूचना साझा करने में अपनी मूल भूमिका निभाते है |
  • समुद्री केबल : सबमरीन cable जो महासागरों के नीचे चलते हैं और वो दुनियाभर के देशों को एक दूसरे से जोड़ते हैं ताकि सभी नेटवर्क एक दूसरे से कनेक्ट हो पाए |
  • SERVER: सर्वर ईट कमरे के अंदर बंद वे कंप्यूटर है जो हमारे डेटा को स्टोर करते हैं जैसे वेबसाइट ईमेल वीडियो ऑडियो इमेज और टेक्स्ट को कोई भी कंपनी अपने डाटा को सर्वर पर स्टोर करती है |
  • DNS: (DOMAIN NAME SYSTEM) इंटरनेट की एक और सेवा है जो डोमेन नामों को उनके आईपी एड्रेस में बदल देती है उदाहरण के तौर पर WWW.GOOGLE.COM को “216.58.200.110 में बदल देता है |

DNS कैसे काम करता है ?

  • उपयोगकर्ता वेबसाइट का नाम टाइप करता है DNS SERVER उस नाम का सटीक IP पता खोजता है कंप्यूटर उस आईपी पते पर कनेक्ट होता है वेबसाइट लोड होती है इस प्रकार के डीएनएस को INTERNET की फोनबुक भी कहा जाता है जो उपयोगकर्ताओं को आसानी से वेब साइटों तक पहुंचाने में मदद करता है
  • IP ADRESS: आईपी एड्रेस एक यूनीक संख्यात्मक पहचान है जो INTERNET से जुड़े प्रत्येक डिवाइस को दिया जाता है यह एक ऐसा विशेष पता होता है |
  • ROUTER: ये वे डिवाइस है जो इंटरनेट ट्रैफिक को आपके कंप्यूटर इंटरनेट तक वापस भेजते है |
  • इसका कार्य इंटरनेट एक्सेस प्रदान करना और डिवाइसों के बीच डेटा ट्रांसफर करना
  • इंटरनेट एक्सचेंज प्वाइंट (IXP): ये वे स्थान है जहाँ इंटरनेट सेवा प्रदाता (ISP) अपने नेटवर्क को जोड़ते हैं |
  • CLOUD: क्लाउड एक ऐसी तकनीक है जिसमें डेटा और सॉफ्टवेयर को INTERNET के माध्यम से स्टोर और ऐक्सेस किया जाता है क्लाउड बड़े सर्वरों पर डिजिटल डेटा को स्टोर करता है जिसे कही से भी एक्सेस किया जा सकता है |
  • नेटवर्क ऑपरेटर सेंटर (NOC): जीवें स्थान मैं जहाँ इंटरनेट सेवा प्रदाता अपने नेटवर्क की निगरानी और प्रबंधन करते हैं |
  • पेयरिंग प्वाइंट: ये वे स्थान है जहा ISP एक दूसरे के साथ ट्रैफिक का आदान प्रदान करते हैं |
  • PROTOCOLS: इंटरनेट में अदान प्रदान करने के लिए कुछ नियम होते हैं जिन्हें हम प्रोटोकॉल्स कहते हैं जिनमे TCP/IP (transmission control protocol/ internet protocol)

इन्टरनेट का इतिहास

INTERNET KYA HAI से ज्यदा INTERNET का इतिहास बहुत ही दिलचस्प है इसकी शुरुआत 1957 में सोवियत संघ द्वारा स्पुतनिक उपकरण प्रकरण के बाद हुई जब अमेरिकी सरकार ने इसके जवाब में एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है जिसको एडवांस रिसर्च प्रोजेक्ट एजेंसी (apra) की स्थापना की |

  • इंटरनेट की शुरुआत 1960 के दशक में भी जब अमेरिकी रक्षा विभाग ने ARPNET ( advance research project agency network )विकसित किया इसका उद्देश्य था कि महत्वपूर्ण सूचनाओं को एक स्थान से दूसरे स्थान तक सुरक्षित रूप से भेजना |
  • 1962 :में पाल बैरेट ने पैकेट स्विच तकनीक आधारित कंप्यूटर नेटवर्क की कल्पना की |
  • 1969: ARPNET का निर्माण हुआ जिसमें चार अमेरिकी संस्थानों के कंप्यूटर जोड़े गए |
  • 1971: तक ARPNET लगभग 10,000 कंप्यूटरों का नेटवर्क बन चुका था |
  • 1973 में ईमेल की शुरुआत हो गई थी |
  • 1980: इंटरनेट का इस्तेमाल आम लोगों ने करना शुरू किया
  • 1983: TCP/IP प्रोटोकोल अपनाया गया
  • 1986: अब तक भारत में शैक्षणिक अनुसंधान नेटवर्क ERNET शुरू हुआ
  • 1989-1990 : तक आते आते वर्ल्ड वाइड वेब (WWW) का आविष्कार हुआ
  • 1990 तक ARPNET को पूरी तरीके से निष्क्रिय कर दिया गया था क्योंकि अब यह इंटरनेट पूरी तरह से व्यावसायिक रद्द हो गया था
  • 1995: INTERNET का व्यावसायिक युग शुरू हुआ |
  • इन्टरनेट का विकास तेजी से 1990 के दशक में हुआ जब इंटरनेट पर डेटा और लोगों की संख्या बहुत तेजी से बढ़ी हर साल INTERNET का इस्तेमाल करने वाले लोगों की संख्या दोगुनी और तिगुनी हो जाती थी
  • क्योंकि इंटरनेट को कोई एक व्यक्ति या कंपनी नियंत्रण नहीं करता है इंटरनेट को कोई एक व्यक्ति या कंपनी नियंत्रित नहीं करती इसलिए अब बहुत तेजी से विकसित हो पाया है
  • इंटरनेट पर बहुत सारी जानकारी साझा होती है आज INTERNET पर बहुत सारी जानकारी है जैसे वीडियो ,फोटो ,लेंख

इंटरनेट की शुरुआत कैसे हुयी

INTERNET KYA HAI तथा INTERNET की शुरुआत 1960 के दशक में हो गई थी जब अमेरिका की एजेंसी ARPNET ने इसे एक उद्देश्य के साथ लॉन्च किया था जिसमें रिसर्च और वैग्यानिकों के बीच के बीच सुरक्षित रूप से सूचनाओं का आदान प्रदान करना था वहीं से इसकी शुरुआत हुई थी |

इंटरनेट संचालित कैसे होता है ?

जैसा कि मैंने आपको पहले ही बताया कि INTERNET का कोई एक मालिक नहीं इसलिए इसे अच्छे तरीके से चलाने के लिए इसमें कुछ संगठन और संस्थान अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं जो इस प्रकार है |

  • Internet corporation for assigned names and number: यह एक बिना लाभ वाली कंपनी है यह संगठन है ज़ु डेनिस और आईपी एड्रेस को चलाती हैं और इसका काम होता है की ये हर डोमेन और एड्रेस को मैनेज करें
  • Governments: गवर्नमेंट भी अपना रोल लिस्ट में अदा करती वो इसमें फंडिंग और उसमें अपना योगदान देती है लेकिन वो पूरी तरीके से मालिक नहीं है वो एक छोटा सा हिस्सा है
  • Internet service provider: ये वे कंपनियां होती हैं जो हमें इंटरनेट की सर्विस देती है जैसे AIRTEL, JIO, वोडाफ़ोन बीएसएनएल ये मात्र एक सर्विस प्रोवाइडर है ना कि इंटरनेट चलाने वाले |
  • Data centre or server companies: सबसे जरूरी कि जो कंपनियां डाटा सेंटर चलाती है जैसे GOOGLE ,AMAZON , MICROSOFT हो गया ये इनके बहुत बड़े बड़े सर्वर है तो जो भी डाटा स्टोर होता है वो इन्हीं के सर्वर पर स्टोर होता है और वहीं से हम इंटरनेट का ऐक्सेस लेते हैं
  • Content creators and user: वह व्यक्ति जो इंटरनेट पर अपनी सामग्री को UPLOAD करता है वह लेख ,वीडियो ,फोटो कुछ भी हो सकता है | और यूजर्स जो हम लोग से कंज्यूम करते हैं और इस्तेमाल करते हैं |
  • Internet engineering task force: इंटरनेट की टेक्नोलॉजी प्रोटोकोल को बनाता है तो इसका काम होता है कि सभी डिवाइसेस एक दूसरे से सही से कम्यूनिकेट करना
  • इंटरनेट ऑफ थिंग्स: वे चीजें जो इंटरनेट से जुड़ी हैं जिनका इस्तेमाल करते हैं क्योंकि बिना डिवाइस के हम इंटरनेट का इस्तेमाल कैसे करेंगे चाहे वहाँ वाइ फाइ हो या हमारा मोबाइल फ़ोन या खुद कंप्यूटर क्यों न हो

INTERNET का पुराना नाम क्या है?

INTERNET KYA HAIINTERNET का पुराना नाम वहीं से शुरू हुआ जब इसकी शुरुआत हुई जब अमेरिका के इस सुरक्षा एजेंसी ने अपरा नेट विकसित किया था तो इसका नाम APRANET शुरुआत में पड़ा था जो केवल शैक्षणिक और अनुसंधान लोगों के लिए तक ही सीमित था

इन्टरनेट को हिंदी में क्या कहते हैं?

क्यूंकि INTERNET पूरी दुनिया में कंप्यूटरों से कनेक्टेड हैं और एक मकड़ी के जाले की तरह बिछा हुआ है इसलिए इंटरनेट को अंतर्जाल के नाम से जाना जाता है |

इंटरनेट का फुल फॉर्म

इंटरनेट का FULLFORM होता है INTERCONNECTED NETWORK क्योंकि ये एक विशाल नेटवर्क होता है जो पूरे वर्ल्ड वाइड वेब WWW सर्वर के द्वारा फैला हुआ होता है | इसको वर्ल्डवाइड वेव यह केवल वेब भी कहते हैं |

इंटरनेट की खोज किसने की थी ?

हमने बात की की INTERNET KYA HAI और अब बात करे इसकी खोज की तो या किसी एक व्यक्ति की खोज नहीं है क्योंकि मैंने ऊपर जैसे आपको बताया कि इसको अमेरिकी एजेंसीज ने शुरू किया था उसके बाद से 1980 के दशक तक VINTON CERF और रॉबर्ट कान ने जब इसके अंदर टीसीपी आईपी प्रोटोकोल इंवेंट किया तभी से INTERNET का आविष्कार |

इंटरनेट नेटवर्क के प्रकार

  1. लोकल एरिया नेटवर्क (LAN) : ये नेटवर्क छोटे क्षेत्रों जैसे ऑफिस या घर में उपयोग किए जाते हैं |
  2. वाइड एरिया नेटवर्क (WAN) : ये नेटवर्क पूरे देश या दुनिया को जोड़ते हुए जाते हैं |
  3. मेट्रोपॉलिटन एरिया नेटवर्क (MAN ) : ये नेटवर्क पूरे शहर को जोड़ने वाले नेटवर्क होते हैं ताकि पूरे शहर में INTERNET को जगह जगह पहुंचाया जाए
  4. वर्चुअल प्राइवेट नेटवर्क (VPN) : इस तरह के नेटवर्क सुरक्षित और निजी कनेक्शन होते हैं इसमें किसी का नियंत्रण नहीं होता है और इसमें आपको डाटा की सुरक्षा भी मिलती है |

अगर आपको NETWORK के बारे में अधिक जानना हो = network क्या है कैसे काम करता है ?

इंटरनेट के विभिन्न प्रकार

वैसे तो कहा जाता है कि INTERNET का कोई प्रकार नहीं होता क्योंकि हम सभी लोग एक ही जगह से जुड़े हुए होते हैं क्योंकि इंटरनेट मेन वही से आता है लेकिन फिर भी कुछ ऐसे विकल्प है जो अलग अलग इंटरनेट का अलग अलग अनुभव देते है उसके बारे में बात करने वाले हैं |

1. Digital subscriber line (DSL) :

  • विवरण :DSL एक INTERNET का ही प्रकार है जो पहले से ही मौजूद टेलीफोन लाइन से उनके उपर काम करता है और ये ब्रॉडबैंड कनेक्शन के अंतर्गत आता है इसलिए इसकी गति भी टेलीफोन लाइन के आधार पर अलग अलग हो सकती है
  • लाभ :
  • इसको लगाना बहुत आसान होता है |
  • यह एक सस्ता विकल्प हो सकता है |
  • कमियां:
  • सबसे बड़ी कमी है कि यह अधिक दूरी पर जाने के बाद इसकी गति जो है धीमी हो जाती है |
  • एक ही समय में टेलीफोन और इंटरनेट उपयोग करने पर सीमित बैंडविड्थ मिलती है |
  • गति: 1 MBPS से लेकर 100 MBPS तक

2. Fiber Internet :

  • विवरण : फाइबर INTERNET डेटा ट्रांसमिशन के लिए ऑप्टिकल फाइबर का उपयोग करता है इसको सबसे तेज और विश्वसनीय इंटरनेट कनेक्शन के नाम से जाना जाता है |
  • लाभ :
  • तेजरफ्तार और कम लेटेंसी
  • बड़ी फाइलें तेजी से अपलोड और डाउनलोड होती है |
  • लिव और गेमिंग के लिए बहुत ही उन्नत कनेक्शन है |
  • कमियां:
  • दूसरों के कंपेयर में महंगा होता है
  • और ये हर क्षेत्र में उपलब्ध भी नहीं होता है |
  • गति: 100 MBPS से 1GBPS होती है या इससे अधिक भी हो सकती है

3. Cable Internet :

  • विवरण : यह INTERNET का एक प्रकार है जो इंटरनेट सेवा को केवल टीवी नेटवर्क के माध्यम से देखता है एक ब्रॉडबैंड कनेक्शन भी है जो COAXIAL CABLE का उपयोग करता है
  • लाभ : यह डीएसएल के मुकाबले तेज गति देता है |
  • कमियां:
  • उपयोगकर्ता की संख्या बढ़ने पर गति कम हो जाती है |
  • यह सीमित क्षेत्रों तक उपलब्ध है जहाँ पर केबल टीवी नेटवर्क होते हैं |
  • गति: 10MBPS से 500 MBPS

4. Satellite Internet :

  • विवरण : यह इंटरनेट सेवा केवल उपग्रहों के माध्यम से प्रदान की जाती है इसका मुख्य उद्देश्य यह है कि जहाँ पर इंटरनेट कनेक्शन उपलब्ध नहीं है वहाँ पे उपलब्ध कराया जाए
  • लाभ :
  • इसके माध्यम से दूर ग्रामीण क्षेत्रों में भी INTERNET उपलब्ध हो पाएगा
  • इसे कहीं से भी आसानी से एक्सेस किया जा सकता है जहाँ केवल स् भी नहीं होती |
  • कमियां: महंगा और धीमा हो सकता है, मौसम की स्थिति के अनुसार इसमें सिग्नल वो कर सकते हैं |
  • गति: 10 MBPS से 100 MBPS

निष्कर्ष:

  • अगर आपको तेज और स्थिर INTERNET चाहिए तो फाइबर सबसे अच्छा विकल्प है |
  • ग्रामीण क्षेत्रों में जहाँ पर इंटरनेट नहीं पहुंचाया वहाँ सैटेलाइट इंटरनेट यूज़फुल है |
  • जिनको बजट की प्रॉब्लम है वो DSL का चुनाव कर सकते हैं |
  • शहरी क्षेत्रों में केवल इंटरनेट एक अच्छा विकल्प है

याद रहे इंटरनेट आपको अपने क्षेत्र जरूरत और अपने बजट के हिसाब से चुनना चाहिए |

इंटरनेट का उपयोग

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आज की डिजिटल युग में INTERNET KYA HAI आपको अगर नहीं पता INTERNET के बिना रहना असंभव है क्योंकि इंटरनेट हमारे जीवन का एक अभिन्न अंग बन गया है उसके बिना हम नहीं रह सकते इंटरनेट एक ऐसी तकनीक है जो दुनिया के अलग अलग कोने से लोगों को जोड़ने का काम करती है हमारे रोजाना हो रहा है चाहे वह शिक्षा, मनोरंजन ,संचालित, शॉपिंग ,बैंकिंग, स्वास्थ्य रिसर्च ,यह रोजगार ही क्यों न हो इसका हर जगह बोलबाला है |

1. शिक्षा (EDUCATION):

INTERNET आने के बाद शिक्षा के क्षेत्र में एक क्रांति आ गई है इसके आने से छात्रों को पढ़ने में और भी आसानी हो गयी यह छात्रों , शिक्षकों, शोधकर्ताओं के लिए एक अद्भुत साधन बन गया है जो ज्ञान की पहुँच को आसान और तेज बनाता है |

  • 1. ज्ञान का भंडार: इंटरनेट पर आज शिक्षा के हर विषय के बारे में जानकारी उपलब्ध है यह छात्रों को किसी भी विषय पर विस्तृत जानकारी प्राप्त करने के लिए हमेशा खुला रहता है आप यहाँ टेक्स्ट, इमेज ,और वीडियो तथा ऑडियो के फॉर्मेट में पा सकते
  • ऑनलाइन अध्ययन सामग्री जैसे ई- बुक्स, नोट्स, वीडियो लेक्चर्स , आसानी से उपलब्ध हो जाते हैं |
  • यहाँ पर आपको रिसर्च पेपर शोध सामग्री और डेटाबेस आसानी से INTERNET पर मिल सकता है जिससे आप शोध को बढ़ा सकते हैं |

2. ऑनलाइन कक्षाये और कोर्सेस:

  • ई लर्निंग PLATEFORM जैसे BUYJUS , KHAN ACADEMY, COURSERA, व UNACADEMY अपने छात्रों को ऑनलाइन कोर्सेज और साधन सामग्री प्रदान करते हैं
  • आप लाइव क्लासेस जैसे ZOOM, गूगल MEET, और माइक्रोसॉफ्ट टीम जैसे प्लेटफॉर्म का उपयोग कर सकते हैं छात्र और शिक्षक लाइव ट्रैक्शन कर सकते है |

3. वर्चुअल लाइब्रेरी:

  • छात्र यहाँ पर इंटरनेट के माध्यम से वर्चुअल लाइब्रेरी सी पुस्तकें पत्रिकाएं और शोध पत्र पढ़ सकते हैं जैसे JSTOR,PROJECT GUTENBERG ,और GOOGLE BOOK

4. ज्ञान साझा करना :

  • इंटरनेट अपने शिक्षकों और छात्रों को अपने विचार और ज्ञान साझा करने का मंच प्रदान किया है
  • हम अपने ब्लॉग, फोरम ,और सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर छात्र छात्राओं और शिक्षक से चर्चा कर सकते हैं |

5. भाषा और कौशल सीखना:

  • यहाँ पर भाषा सीखने के लिए डुओलिंगो, BABBEL, MEMRISE इस जैसे एप्स का उपयोग कर सकते हैं |
  • इंटरनेट के माध्यम से प्रोग्रामिंग, डिजिटल मार्केटिंग, ग्राफिक डिजाइन, कॉन्टेंट क्रिएशन, व अन्य कौशल सीख सकते हैं |
  • ऑनलाइन परीक्षा देने की सुविधा है |
  • रिज़ल्ट और प्रवेश संबंधी जानकारी भी ऑनलाइन वेबसाइट के द्वारा देख सकते हैं|
  • ग्रामीण इलाकों में इंटरनेट के माध्यम से वो वहाँ बैठे अपने फ़ोन या कंप्यूटर से कोई भी स्किल सीख सकते हैं |

2. व्यापार (BUSINESS) :

बिज़नेस के क्षेत्र में INTERNET ने क्रांतिकारी बदलाव आया है यह हमारे व्यवसाय को तेज और कुशल बनाने में मदद करता है तथा यह हमारी पहुँच को भी वैश्विक स्तर पर ले जाता है |

1. व्यापार में डिजिटल मार्केटिंग:

  • सोशल मीडिया मार्केटिंग जैसे फेसबुक, इंस्टाग्राम ,ट्विटर, और लिंक्डइन जैसे प्लेटफॉर्म का उपयोग करके आप अपने BRAND के प्रमोशन कर सकते हैं |
  • सर्च इंजन मार्केटिंग गूगल ऐड्स के माध्यम से एसईओ तकनीक के माध्यम से उत्पाद और सेवाओं की ग्राहक तक पहुंचाया जा सकता है |
  • ईमेल मार्केटिंग ग्राहकों को नियमित अपडेट और ऑफर भेजने के लिए उपयोग किया जाता है |

2. ई कॉमर्स प्लेटफॉर्म:

  • ई कॉमर्स वेबसाइट जैसे AMAZON, फ्लिपकार्ट ,और MYNTRA अपने व्यापार और उत्पाद को ऑनलाइन बेचते हैं |
  • आप खुद अपने प्लेटफॉर्म का निर्माण कर सकते हैं अपनी वेबसाइट या ऐप बनाकर ऑनलाइन बिक्री कर सकते हैं या आप ई कॉमर्स वेबसाइट पर सेलर के रूप में काम कर सकते |
  • पैसे का लेनदेन भी अब आप पेमेंट गेटवे जैसे PAYTM , PHONEPE, GOOGLE PAY ,RAZORPAY यूपीआइ सिस्टम से ऑनलाइन भुगतान तथा विदेश से भी पैसा मांगा सकते हैं |

3. इंटरनेशनल पहुंचे और नेटवर्किंग:

  • इंटरनेट के माध्यम से व्यापारी अपने उत्पादों और सेवाओं को इंटरनेशनल ग्राहक तक पहुंचा सकते हैं
  • B2B बिज़नेस जैसा LINKDIN व अन्य प्लेटफॉर्म पर आप अपने लिए अच्छे जॉब खोज सकते हैं |

4. ग्राहक सेवा:

  • आप चैटबोट और कस्टमर सपोर्ट 24X7 ग्राहक सहायता से इंटरनेट के माध्यम से चैट पॉर्ट्स कॉल सेंटर सेवाएं ले सकते हैं
  • INTERNET के माध्यम से ग्राहक समीक्षा और सुझाव और फीडबैक दे सकते हैं जो आपके व्यापार के लिए काफी महत्वपूर्ण है |
  • INTERNET के माध्यम से लॉयल्टी प्रोग्राम ग्राहकों को आकर्षित करने के लिए इनाम और ऑफर दे सकते हैं |

5. व्यापार प्रबंधन और संचालन:

  • क्लाउड टेक्नोलॉजी डेटा स्टोरेज शेयरिंग और एक्सेस को आसान बनता है |
  • प्रोजेक्ट मैनेजमेंट टूल जैसे TRELLO, SLACK और ASNA ने टीम के कार्यों को सुचारू किया है |
  • ऑनलाइन अकाउंटिंग सॉफ्टवेयर जैसे टैली और जोहो बुक्स का उपयोग |

6. विज्ञापन और प्रचार:

  • INTERNET के माध्यम से वीडियो मार्केटिंग जैसे यूट्यूब का प्रयोग कर सकते हैं |
  • गूगल ऐडवर्ड्स और PAID कंपेन के द्वारा लक्षित दर्शकों तक अपनी पहुँच बना सकते हैं|
  • सोशल मीडिया के माध्यम से अब influencer के माध्यम से ब्रैंड प्रमोशन करवा सकते हैं |

3. मनोरंजन (INTERTAINMENT) :

1. Online streaming platform:

  • Video streaming Netflix ,Amazon prime, Disney plus, YouTube ,jaise platform par filmen web series TV shows dekh sakte Hain.
  • Music streaming Spotify. gaana. jio savan, jaise platform पर आप ऑनलाइन गाने सुन सकते

2. इंटरटेनमेन्ट ON सोशल मीडिया:

  • आप इंटरनेट के माध्यम से भी फेसबुक, इंस्टाग्राम ,और टिकटॉक, जिससे प्लेटफार्म पर मनोरंजक वीडियो देख सकते हैं और आप खुद बना भी सकते है |
  • सोशल मीडिया पर चल रहे हैं ट्रेंडिंग मीम्स और शॉर्ट वीडियो आपका मनोरंजन के साधन है |
  • आप सिलेब्रिटीज के LIVE SHOW और WEBINAR का आनंद ले सकते हैं |

3. ऑनलाइन गेम्स:

  • ऐप्स के माध्यम से मल्टीप्लेयर गेम जैसे पब्जी ,फ्री फायर, कॉल ऑफ ड्यूटी ,ऑनलाइन खेल सकते हैं |
  • अब आप बिना INTERNET के माध्यम से बिना बड़े डिवाइस पर हाई क्वालिटी गेमिंग का आनंद ले सकते हैं क्लाउड गेमिंग के माध्यम से
  • इस्पोर्ट भी इंटरनेट के आने से आया है इसमें युवा अपने गेम्स प्रतिभागिता में हिस्सा लेते हैं और पैसा कमा सकते हैं |

4. ऑनलाइन रेडियो और पॉडकास्ट:

  • अब आप INTERNET पर रेडियो चैनल और पॉडकास्ट सुन सकते हैं और बापी उपलब्ध ज्ञानवर्धक नृत्य सामग्री जैसी कहानियाँ इंटरव्यू और संगीत आपको मिलते हैं |

5. ऑनलाइन किताबें और ई कॉमिक्स:

  • इंटरनेट पर उपन्यास कहानियाँ और किताबें पढ़ने के लिए ऑनलाइन ऐमजॉन किंडल का प्रयोग कर सकते हैं
  • बच्चों और युवाओं के लिए डिजिटल कॉमिक्स और ग्राफिक नावल भी उपलब्ध होंगे |

6. वर्चुअल रियलिटी का आनंद:

  • वर्चुअल रियलिटी की मदद से 3D मनोरंजन, वर्चुअल टूर, और इंटरैक्टिव गेम का आनंद ले सकते हैं |

7. व्यक्तिगत मनोरंजन डेटिंग:

  • आप यहाँ पर ब्लॉग्स और YOUTUBE के जरिए खुद आप इसको देख सकते हैं और CREATE भी सकते हैं |
  • हॉप डेटिंग के लिए टेंडरिंग बम्बल जैसी एप्स का उपयोग कर सकते हैं|
  • साथ ही के लिए आप में MANOMATRY और ऐप्स के जरिए अपने जीवनसाथी को पा सकते हैं जैसे SHADI.COM

4. स्वास्थ (HEALTH) :

आज इंटरनेट के स्वास्थ्य के क्षेत्र में भी क्रांति लाई है या न केवल रोगों की जानकारी और उपचार तक ही पहुंचा है बल्कि स्वास्थ्य सेवाओं को अधिक से ठीक और सुलभ भी बनाता है

1. स्वास्थ्य की जानकारी तक आसानी से पहुंच:

  • इंटरनेट के माध्यम से लोग विभिन्न बिमारी लक्षण उपचारों के बारे में जानकारी इकट्ठा कर सकते हैं और अवेयर रह सकते
  • विश्वसनीय वेबसाइट है जैसे WEBMD ,MAYOCLINIC, WHO पर स्वस्थ संबंधी विस्तृत जानकारी लिखते हैं |

2. ऑनलाइन चिकित्सा परामर्श:

  • वीडियो कॉल के माध्यम से मरीज घर बैठे डॉक्टर से सलाह ले सकते
  • प्रैक्टो ,टाटा हेल्थ ,और अपोलो जैसे प्लेटफॉर्म डॉक्टर कॉन्वेंट और परामर्श की सुविधा देते है
  • आप हेल्थ ऐप्स का प्रयोग कर सकते हैं जिसे गूगल फिट ,माई फिटनेस पाल,
  • डिजिटल हेल्थ गैजेट जैसे स्मार्टवॉच और फिटनेस बैंड का प्रयोग कर सकते हैं
  • महिलाओं के लिए पीरियड TRACKING, प्रेगनेंसी गाइडेंस ,और न्यूट्रिशियन ट्रैकिंग ऐप्स के माध्यम से उपलब्ध है
  • ऑनलाइन दाएँ बिक्री सकते हैं जैसे 1MG ,नेटमेड्स और फार्मेसी के माध्यम से |
  • हम इंटरनेट पर बीमारियों से जुड़ें लक्षण जान सकते हैं और उनके रोकथाम के लिए खानपान व्यायाम सीख सकते हैं |

5.संचार (COMMUNICATION):

  • इसका उपयोग GMAIL, OUTLOOK जैसे तेज सुरक्षित संदेश भेजने ऐप्स का प्रयोग कर सकते हैं |
  • मैसेजिंग एप्स WHTSAPP, TELEGRAM, राधिका प्रयोग कर सकते है |
  • वीडियो कॉल के लिए आप ZOOM, GOOGLE MEET ,SKYPE पर बात कर सकते हैं |
  • इंटरटेनमेन्ट के लिए या फेसबुक पर अपने विचार वीडियो पोस्ट करने के लिए FACEBOOK,INSTAGRAM, X PLATEFORM
  • ऑनलाइन नेटवर्किंग के लिए LINKDIN,QUARA, REDDIT का प्रयोग कर सकते हैं |
  • मल्टीमीडिया और न ही नियंत्रण के लिए CANVA व GOOGLE DRIVE का प्रयोग कर सकते है |

इंटरनेट के लाभ:

  • कोई भी जानकारी INTERNET पर तुरंत प्राप्त की जा सकती है |
  • कितनी भी दूर पर लोग रहकर एक दूसरे से जुड़ सकते हैं |
  • यह एक सस्ता संचार शिक्षा के लिए किफायती है माध्यम |

इंटरनेट( INTERNET )से के नुकसान:

  • INTERNET के आने से साइबर अपराध डेटा चोरी का खतरा रहता है |
  • इसमें गोपनीयता का उल्लंघन हो सकता है जिसमे आपकी निजी जानकारी का इस्तेमाल हो |
  • डिजिटल एडिक्शन
  • आपके समय की बर्बादी भी हो सकती है |

इंटरनेट की विशेषताएँ:

  • तेज कनेक्टिविटी |
  • डेटा का आदान प्रदान |
  • ग्लोबल नेटवर्क|
  • कम लागत में सेवा |

इंटरनेट (INTERNET)में योगदान देने वाले लोग

  • TIM BURNERS LI जिन्होंने वर्ल्ड वाइड वेब के जनक के रूप में जाना जाता है |
  • VINT SURF इन्होंने टीसीपी आईपी प्रोटोकोल के निर्माता थे इनको इंटरनेट का पिता भी कहा जाता है |
  • LARRY PAGE और SURGEYI BRIN गूगल के संस्थापक |

इंटरनेट की चुनौतियां

  • साइबर सुरक्षा डेटा की सुरक्षा
  • सभी को इंटरनेट नहीं मिल पाता
  • व्यक्तिगत डेटा का दुरुपयोग हो सकता है |

इंटरनेट का भविष्य

ग्रीन इंटरनेट

यह INTERNETका एक ऐसा रूप है जो ऊर्जा की खपत को कम करता है और पर्यावरण के अनुकूल भी है इससे कोई भी नुकसान नहीं होता है

क्लाउड इंटरनेट (CLOUDE INTERNET)

डेटा को बिना हार्डवेयर के एक्सेस करने की सुविधा क्लाउड इंटरनेट आपको देता है जो हमारे लिए बहुत ही अच्छी सुविधा है |

भारत में इंटरनेट का आगमन

  • भारत में इंटरनेट 1986 को इंटरनेट की शुरुआत हुई जिसमें का अनुसंधान समुदाय के लिए इंटरनेट यूज़ किया गया उसके बाद 15 अगस्त 1995 को विदेश संचार निगम लिमिटेड बीएसएनएल (VSNL)द्वारा आम जनता के लिए इंटरनेट सेवा शुरू की गई |
  • 1995 में INTERNET 3 साल तक केवल प्राइवेट सेक्टर की कंपनियों तक ही पहुंचा था |
  • 2000 में TECNOLOGY ACT लागू किया गया |
  • 1996 सबसे पहला साइबर कैफ़े मुंबई में खोला गया |

ONE WEB क्या है?

वन WEB है जो एक दूसरे से जुड़े पृष्ठों अन्य सामग्री के समूह को संदर्भित करता है इंटरनेट पर परस्पर जुड़े पृष्ठों का दस्तावेज़ एक समूह क्या आप एक मकड़ी का जाला सकते हैं जिसे इंटरनेट के रूप कर इस्तेमाल किया जा सकता है |

Difference between worldwide web and the Internet

  • WWW कैसे INTERNET पर उपलब्ध वेब पेज और वेब साइटों का एक संग्रह है जिसे हम ब्राउज़र की मदद से देख सकते हैं
  • इंटरनेट ये पूरी दुनिया से जुड़ी हुई है एक विशाल नेटवर्क का जाल है जो डेटा का आदान प्रदान करते हैं |
  • WWW इंटरनेट पर आधारित हैहै |
  • INTERNET सिर्फ WWW सीमित नहीं है इसमें ईमेल फाइल ट्रांसफर ऑनलाइन सेटिंग आदि शामिल हैं|
  • WWW का उपयोग वेब पेज ऐक्सेस करने और सूचना खोजने के लिए किया जाता है |
  • INTERNET का उपयोग ईमेल, एफ़टीपी, वीडियो, शॉपिंग ,BLOG के लिए किया है |
  • WWW यह हाइपरलिंक और वेब पेजों पर आधारित है जिसमें HTML , URL, और HTTP/HTTPS का उपयोग होता है |
  • INTERNET में हार्डवेयर जैसे राउटर, सर्वर , cable ,प्रोटोकोल आदि का उपयोग करके नेटवर्क कनेक्शन बनता है |

इंटरनेट और सुरक्षा

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जैसे जैसे हम इंटरनेट का इस्तेमाल करते हैं इंटरनेट से जानकारी प्राप्त कर सकते हैं मनोरंजन लेते है शॉपिंग करते हैं और अपने अन्य कार्य करते अब INTERNET के उपयोग के साथ कुछ सुरक्षा संबंधी खतरे भी उत्पन्न होते हैं सो उन खतरों से बचने के लिए साइबर सिक्योरिटी को समझना भी बहुत जरूरी है |

इंटरनेट सुरक्षा के खतरे:

  1. हैकिंग: हैकर्स आपके व्यक्तिगत डेटा पासवर्ड अन्य महत्वपूर्ण जानकारी चुराने के लिए आपके सिस्टम को हैक कर सकते हैं |
  2. मैलवेयर और virus: ये आपके कंप्यूटर या मोबाइल डिवाइस को नुकसान पहुंचाने के लिए बनाए जाते हैं और आपकी व्यक्तिगत जानकारी चुराते हैं |
  3. डेटा चोरी: साइबर अपराधी आपकी जानकारी चुराकर उसका गलत इस्तेमाल करते हैं जैसे कि बैंकिंग विवरण और पहचान पत्र की चोरी |
  4. phising: फिशिंग एक साइबर फ्रॉड है जिसमें अपराधी आपको धोखा देने के लिए किसी विश्वसनीय व्यक्ति या संस्था का रूप धारण करके आपसे व्यक्तिगत जानकारी जैसे पासवर्ड बैंक खाता विवरण क्रेडिट कार्ड चुराना |
  5. crackers: क्रैकर्स का उद्देश्य किसी सिस्टम या सॉफ्टवेयर को नुकसान पहुंचाने और उसकी सुरक्षा को तोड़ना होता है|

इंटरनेट सुरक्षा के प्रमुख पहलू:

  • पासवर्ड सुरक्षा : INTERNET पर अपनी जानकारी सुरक्षित करने के लिए एक मजबूत पासवर्ड का इस्तेमाल करें पासवर्ड में बड़े और छोटे चार अंक और विशेष दिन का मिश्रण होना चाहिए |
  • सुरक्षित वेबसाइट: जब भी आप किसी वेब साइट पर जाये तो यह सुनिश्चित करें उस में “https:\\ से शुरू हो इससे यह साबित होता है कि साइट सुरक्षित है |
  • एंटीवायरस फ़ायरवॉल: अपने कंप्यूटर या मोबाइल में एंटी वायरस सॉफ़्टवेयर का उपयोग करें मालवेयर, virus से बचाते हैं |
  • प्राइवेसी सेटिंग्स: सोशल मीडिया और ऑनलाइन प्लेटफार्म पर अपनी प्राइवेसी को सख्त रखें |
  • अंजान लिंक पर क्लिक न करें: इससे आप साइबर अपराधी आपकी जानकारी चुरा सकता है |
  • पब्लिक वाईफाई का उपयोग: पब्लिक वाइफाई का प्रयोग करते समय सावधानी बरतनी चाहिए |
  • ऑनलाइन ट्रांजैक्शन्स सुरक्षा: इंटरनेट पर सुरक्षित रहने के लिए अपने बैंकिंग पासवर्ड क्रेडिट कार्ड जानकारी को सुरक्षित रखें तथा किसी दूसरे को ओटीपी ना बताएं
  • vpn का use: वर्चुअल प्राइवेट नेटवर्क यह प्राइवेट ब्राउजिंग मोड जैसे incognito mode का प्रयोग करे |
  • autofill: ऑटोफिल का यूज़ करना बंद करो |

इंटरनेट से पैसे कैसे कमाए

  • फ्रीलांसिंग: में आप वेबसाइट डिजाइन, लेखन, प प्रोग्रामिंग की सर्विस देकर कैसे कमा सकते हैं ह|
  • ब्लॉगिंग: आप इंटरनेट पर ब्लॉग लिखकर एफिलिएट मार्केटिंग और विज्ञापन के द्वारा पैसा कमा सकते है |
  • YOUTUBE: यू ट्यूब पर वीडियो ज़ बनाकर कमाई कर सकते हैं |
  • ई कॉमर्स : अपना ऑनलाइन स्टोर खोल सकते हैं |
  • ऑनलाइन कोर्स: आप कोई ऑनलाइन कोर्स बेच सकते हैं |
  • AFFILIAETE प्रोग्राम: आप दूसरों के प्रॉडक्ट को बेचकर कमीशन के द्वारा पैसे कमा सकते हैं |

निष्कर्ष:

INTERNET KYA HAI के इस लेख में हमने इंटरनेट क्या है कैसे काम करता है उपयोग, फायदे ,नुकसान पर हमने बात की इंटरनेट एक बहुत अच्छी चीजें जो हमें बहुत ही उन्नति क्यों ले जाती है लेकिन इसका सही से यूज़ करना इसके लिए नई नीतियां बनाना बहुत महत्वपूर्ण है यह तुम्हें दुनिया से जोड़ कर रखता है पर आज हमारे जीवन का अभिन्न अंग बन चुका है इसके बिना आधुनिक जीवन की कल्पना करना ही मुश्किल है|

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